
नई दिल्ली, रफ्तार टुडे। भारत के अद्वितीय हस्तशिल्प और सस्टेनेबल उत्पादों की खूबसूरती का प्रदर्शन इस बार मेलबर्न, ऑस्ट्रेलिया में 19 से 21 नवंबर तक आयोजित ग्लोबल सोर्सिंग एक्सपो 2024 में किया जा रहा है। यह आयोजन भारतीय हस्तशिल्प को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बढ़ावा देने और भारत-ऑस्ट्रेलिया के व्यापारिक संबंधों को नई ऊंचाइयों तक ले जाने में एक अहम भूमिका निभा रहा है।
भारत पवेलियन का भव्य उद्घाटन
मेलबर्न में स्थित भारतीय महावाणिज्य दूत डॉ. सुशील कुमार ने इस आयोजन में ईपीसीएच (Export Promotion Council for Handicrafts) द्वारा स्थापित इंडिया पवेलियन का उद्घाटन किया। उन्होंने कहा, “भारतीय हस्तशिल्प, कला और सस्टेनेबल उत्पादों को वैश्विक स्तर पर पहचान दिलाने में इस तरह के एक्सपो का बड़ा योगदान है। ईपीसीएच का यह प्रयास भारतीय निर्यातकों के लिए नए व्यापारिक अवसर पैदा करेगा।”
ईपीसीएच के अध्यक्ष श्री दिलीप बैद ने इस मौके पर कहा, “मेलबर्न एक्सपो जैसे आयोजन भारत की सशक्त व्यापारिक उपस्थिति का प्रमाण हैं। यह एक्सपो अंतरराष्ट्रीय खरीदारों और भारतीय हस्तशिल्प उद्योग के बीच सेतु का काम करेगा।”
इंडिया पवेलियन की झलक
ईपीसीएच ने भारत के प्रमुख शिल्प समूहों के 16 निर्यातकों के साथ मिलकर इस एक्सपो में एक भव्य इंडिया पवेलियन स्थापित किया है। इसमें विशेष रूप से निम्नलिखित उत्पादों का प्रदर्शन किया जा रहा है:
होम डेकोर और किचनवेयर
सस्टेनेबल फैशन जैसे जूट और सूती बैग
चमड़े के उत्पाद
हस्तनिर्मित परिधान और कपड़े
यह पवेलियन भारतीय शिल्पकारों की मेहनत और रचनात्मकता का परिचायक है, जो सस्टेनेबल और पर्यावरण-अनुकूल उत्पादों के माध्यम से अपनी छाप छोड़ रहे हैं।

भारत-ऑस्ट्रेलिया व्यापार में सुदृढ़ता
हाल ही में संपन्न हुए भारत-ऑस्ट्रेलिया आर्थिक सहयोग और व्यापार समझौते (ईसीटीए) के बाद दोनों देशों के बीच व्यापारिक संबंध और भी मजबूत हुए हैं।
ईपीसीएच के कार्यकारी निदेशक श्री आर. के. वर्मा ने बताया कि वर्ष 2023-24 में भारत से 32,759 करोड़ रुपये का हस्तशिल्प निर्यात हुआ, जिसमें ऑस्ट्रेलिया को लगभग 737.83 करोड़ रुपये का योगदान रहा। मेलबर्न एक्सपो जैसे आयोजन से यह आंकड़ा आने वाले वर्षों में और बढ़ेगा।
सस्टेनेबल प्रोडक्ट्स की बढ़ती मांग
इस बार के एक्सपो में सस्टेनेबल उत्पादों पर विशेष ध्यान दिया गया है। जूट और सूती उत्पाद, पुनर्नवीनीकरण सामग्री से बने किचनवेयर और फैशन एक्सेसरीज ने अंतरराष्ट्रीय खरीदारों को आकर्षित किया है। इन उत्पादों को बनाने में भारतीय कारीगरों की पारंपरिक कला और आधुनिक डिजाइनों का समावेश देखा गया।
भारत के हस्तशिल्प के लिए वैश्विक पहचान
मेलबर्न एक्सपो 2024 भारतीय हस्तशिल्प को अंतरराष्ट्रीय मंच पर पहचान दिलाने का एक महत्वपूर्ण माध्यम साबित हो रहा है। भारत की हस्तनिर्मित कला और शिल्प को लेकर खरीदारों और डिजाइनरों का उत्साह यह दिखाता है कि भारत वैश्विक बाजार के लिए एक भरोसेमंद साझेदार बन रहा है।
ईपीसीएच के प्रयासों की सराहना करते हुए भारतीय महावाणिज्य दूत ने कहा, “भारत के हस्तशिल्प और संस्कृति को वैश्विक पहचान दिलाने के लिए इस तरह के आयोजन बेहद महत्वपूर्ण हैं।”
उम्मीदों की नई उड़ान
ईपीसीएच द्वारा मेलबर्न एक्सपो में भारतीय हस्तशिल्प को प्रस्तुत करने की पहल ने यह सिद्ध कर दिया है कि भारत न केवल अपने पारंपरिक उत्पादों बल्कि सस्टेनेबल नवाचारों के जरिए भी वैश्विक बाजार में अपनी खास जगह बना रहा है।
हैशटैग्स: #IndiaHandicrafts #GlobalSourcingExpo #EPCH #SustainableFashion #IndianCrafts #TradeRelations #MelbourneExpo2024 #IndianExports #HandmadeInIndia #RaftarToday
🛑 Raftar Today व्हाट्सएप चैनल से जुड़ने के लिए नीचे दिए गए लिंक को टच करें।
Follow the Raftar Today channel on WhatsApp
Twitter (X): Raftar Today (@raftartoday)