Jewar Airport News: नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट 9 दिसंबर को होगा पहला ट्रायल, व्यावसायिक उड़ानें शुरू होने की उम्मीद 2025 में, दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से एयरपोर्ट को जोड़ने का काम तेज़ी पर, नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट उत्तर प्रदेश की नई पहचान
जेवर, रफ़्तार टुडे। नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट (जेवर एयरपोर्ट) का इंतजार कर रहे लाखों लोगों के लिए बड़ी खबर है। इस बहुप्रतीक्षित प्रोजेक्ट पर एक और मील का पत्थर जुड़ने जा रहा है। 9 दिसंबर 2024 को नोएडा एयरपोर्ट पर पहली बार विमान उतरेगा। यह ट्रायल रन एयरपोर्ट के संचालन और सुरक्षा मानकों की जांच का हिस्सा है। 15 दिसंबर तक चलने वाली इस प्रक्रिया के बाद एयरपोर्ट से व्यावसायिक उड़ान सेवाएं शुरू करने की तैयारी तेज हो जाएगी।
9 दिसंबर से शुरू होगी ट्रायल प्रक्रिया
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर 9 दिसंबर को सुबह 11 बजे ट्रायल रन का आयोजन होगा।
ट्रायल रन का विवरण: विमान एयरपोर्ट पर उतरने से पहले आसपास के क्षेत्र में डेढ़ से दो घंटे तक उड़ान भरेगा।
उड़ान के दौरान एकत्र किए गए डाटा का विश्लेषण किया जाएगा। यह डाटा डायरेक्टर जनरल ऑफ सिविल एविएशन (DGCA) को सौंपा जाएगा।
DGCA से लाइसेंस प्रक्रिया:
ट्रायल रन के बाद DGCA के एरोड्रम लाइसेंस के लिए आवेदन किया जाएगा। यह लाइसेंस मिलने के बाद ही एयरपोर्ट पर व्यावसायिक सेवाएं शुरू हो पाएंगी।
एयरपोर्ट से उड़ान सेवाएं कब तक शुरू होंगी?
अगर ट्रायल रन और अन्य प्रक्रिया समय पर पूरी हो जाती हैं, तो नोएडा एयरपोर्ट पर अप्रैल 2025 से व्यावसायिक उड़ानें शुरू होने की संभावना है। यह एयरपोर्ट क्षेत्रीय कनेक्टिविटी को बढ़ाने और नोएडा-ग्रेटर नोएडा क्षेत्र के विकास में अहम भूमिका निभाएगा।
दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से एयरपोर्ट को जोड़ने का काम तेज़ी पर
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट को दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से जोड़ने के लिए इंटरचेंज का निर्माण लगभग पूरा हो चुका है।
इंटरचेंज की विशेषताएं: यमुना एक्सप्रेसवे पर आठ लेन और चार लूप का इंटरचेंज बनाया गया है।
दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से 31 किमी लंबी छह लेन की सड़क एयरपोर्ट को जोड़ेगी।
750 मीटर लंबी आठ लेन की सड़क इंटरचेंज को एयरपोर्ट से जोड़ेगी।
वाहनों का संचालन: निर्माण की गुणवत्ता जांचने के लिए इस माह वाहनों का संचालन शुरू किया जा सकता है।
इससे मथुरा, आगरा, लखनऊ, नोएडा और ग्रेटर नोएडा जैसे शहरों से आने वाले यात्रियों को सुविधा होगी।
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट: उत्तर प्रदेश की नई पहचान
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट केवल एक हवाई अड्डा नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश के विकास का प्रतीक है।
आर्थिक विकास: एयरपोर्ट के शुरू होने से क्षेत्रीय व्यापार, पर्यटन और रोजगार के अवसरों में भारी वृद्धि होगी।
यह एयरपोर्ट एनसीआर क्षेत्र के अलावा उत्तर प्रदेश के अन्य शहरों को भी अंतरराष्ट्रीय बाजार से जोड़ने का काम करेगा।
पर्यावरण के प्रति संवेदनशीलता: ग्रीनफील्ड तकनीक से निर्मित यह एयरपोर्ट आधुनिक और पर्यावरण अनुकूल होगा।
हजारों यात्रियों को होगा फायदा
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के शुरू होने से लाखों यात्रियों को फायदा होगा। दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर भीड़ कम होगी। उत्तर प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान और दिल्ली के यात्रियों को उड़ान सेवाओं के लिए बेहतर विकल्प मिलेगा।
यह एयरपोर्ट क्षेत्रीय हवाई कनेक्टिविटी को एक नई दिशा देगा।
निष्कर्ष
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का पहला ट्रायल रन इस प्रोजेक्ट की सफलता की ओर एक महत्वपूर्ण कदम है। यह केवल एक हवाई अड्डा नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश के लिए एक नई शुरुआत है। आगामी वर्षों में, यह एयरपोर्ट क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर परिवहन और विकास को बढ़ावा देगा।
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