Greater Noida Authority News : खरीदारों के नाम रजिस्ट्री में कोई लापरवाही नहीं चलेगी!, ग्रेनो प्राधिकरण की बिल्डरों को दो टूक चेतावनी, जल्द कराएं रजिस्ट्री, वरना रद्द हो सकती हैं सुविधाएं, ग्रेनो प्राधिकरण के एसीईओ सौम्य श्रीवास्तव ने क्रेडाई के प्रतिनिधियों के साथ की बैठक
अब तक 2841 फ्लैटों की रजिस्ट्री संपन्न, एसीईओ ने फ्लैट खरीदारों के नाम रजिस्ट्री जल्द करने के दिए निर्देश

ग्रेटर नोएडा, रफ़्तार टुडे।।
ग्रेटर नोएडा वेस्ट में वर्षों से घर की चाबी का इंतजार कर रहे फ्लैट खरीदारों के लिए एक बड़ी खबर सामने आई है। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने अब बिल्डरों को सख्त लहजे में निर्देश देते हुए कहा है कि यदि तय समय पर खरीदारों के नाम रजिस्ट्री नहीं कराई गई, तो अमिताभ कांत समिति से मिली विशेष राहत सुविधाएं वापस ले ली जाएंगी।
प्राधिकरण के एसीईओ सौम्य श्रीवास्तव ने गुरुवार को क्रेडाई और बिल्डरों के साथ एक अहम बैठक कर रजिस्ट्री प्रक्रिया में तेजी लाने के निर्देश दिए। इस बैठक में खरीदारों की लंबी प्रतीक्षा, रजिस्ट्री में आ रही ढिलाई और बिल्डरों की उदासीनता पर चिंता जताई गई।
अब तक सिर्फ 2841 रजिस्ट्री हुईं पूरी, 1431 फ्लैट अभी भी अपंजीकृत!
बैठक में जानकारी दी गई कि अमिताभ कांत समिति से लाभ पाने वाली 9 परियोजनाओं में अब भी 1431 फ्लैटों की रजिस्ट्री लंबित है, जबकि इन सभी प्रोजेक्ट्स को
- ऑक्यूपेंसी सर्टिफिकेट (OC)
- प्राधिकरण की मंज़ूरी
- बकाया जमा कराने जैसी सभी औपचारिकताएं पूरी की जा चुकी हैं।
यानी अब सिर्फ बिल्डर और खरीदार की सक्रियता ही रजिस्ट्री में विलंब की वजह बन रही है।
बैठक में रहे ये अहम चेहरे
- एसीईओ सौम्य श्रीवास्तव (ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण)
- मैनेजर स्नेहलता (बिल्डर विभाग)
- क्रेडाई सचिव निखिल हवेलिया
- बिल्डर प्रतिनिधि मनीष गुप्ता
- अन्य प्रोजेक्ट्स से जुड़े बिल्डर प्रतिनिधि

खरीदार नहीं आ रहे रजिस्ट्री के लिए, तो भेजिए अंतिम नोटिस
बैठक के दौरान एसीईओ ने यह भी कहा कि कुछ मामलों में खरीदार खुद भी रजिस्ट्री में रुचि नहीं दिखा रहे। ऐसे मामलों में बिल्डर खरीदार को अंतिम नोटिस भेजें और आवश्यकता होने पर उनका आवंटन निरस्त करें।
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि “जो बिल्डर खरीदारों को रजिस्ट्री में सहयोग नहीं कर रहे, उनकी सुविधाएं रद्द की जा सकती हैं और भविष्य में ऐसे प्रोजेक्ट्स पर कार्रवाई की जाएगी।”
परियोजनावार लंबित फ्लैटों की सूची
प्रोजेक्ट का नाम | लंबित फ्लैट |
---|---|
1. विहान डेवलपर्स, सेक्टर-1 | 83 |
2. डोमस ग्रीन, जीटा-1 | 196 |
3. निराला प्रोजेक्ट, सेक्टर-2 | 137 |
4. कैपिटल इंफ्राटेक, सेक्टर-1 | 244 |
5. महालक्ष्मी इंफ्राहोम, ओमीक्रॉन-3 | 125 |
6. पूर्वांचल प्रोजेक्ट, चाई-4 | 94 |
7. एम्स गोल्फ टाउन डेवलपर्स, सेक्टर-4 | 285 |
8. एसजेपी इंफ्राकॉन, सेक्टर-16बी | 99 |
9. रुद्रा बिल्डवेल कंस्ट्रक्शन, सेक्टर-16 | 168 |
कुल | 1431 |
क्या है अमिताभ कांत समिति?
केंद्र सरकार द्वारा गठित अमिताभ कांत समिति का उद्देश्य था—फंसे हुए रियल एस्टेट प्रोजेक्ट्स को राहत देना और खरीदारों को जल्द से जल्द उनका घर दिलाना। जिन प्रोजेक्ट्स को इस समिति से राहत मिली है, उन्हें खास शर्तों पर ऑक्यूपेंसी सर्टिफिकेट, रजिस्ट्री अनुमति और वित्तीय राहत दी गई थी। लेकिन यदि इन राहतों का फायदा उठाकर भी रजिस्ट्री नहीं कराई जाती, तो ये सुविधा स्थगित या निरस्त हो सकती है।
खरीदारों से अपील: आगे आकर कराएं रजिस्ट्री
एसीईओ ने रजिस्ट्री प्रक्रिया में खरीदारों की भागीदारी की भी अपील की। उन्होंने कहा कि जिन खरीदारों को बिल्डर रजिस्ट्री के लिए बुला रहा है, वे अनावश्यक देरी न करें और समय पर दस्तावेजों के साथ सामने आएं, ताकि प्रोजेक्ट तेजी से निपटाया जा सके।
निष्कर्ष: अब ना होगी देरी, ना चलेगा बहाना!
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण का यह कदम हज़ारों फ्लैट खरीदारों के लिए उम्मीद की नई किरण है। यह स्पष्ट हो गया है कि अब कोई भी रजिस्ट्री के मामले को लटकाकर नहीं रख सकेगा। खरीदारों को अपने घर की चाबी तभी मिलेगी जब बिल्डर और प्राधिकरण मिलकर समन्वय से कार्य करेंगे।
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