UP BJP POLTICS: यूपी बीजेपी का नया अध्यक्ष कौन बनेगा? कोई OBC या ब्राह्मण की दावेदारी सबसे अधिक
दिल्ली/लखनऊ, रफ्तार टुडे। यूपी में सरकार गठन के बाद मार्च से ही दिमागी घोड़े दौड़ रहे हैं कि पार्टी प्रदेश में संगठन के मुखिया का जिम्मा किस वर्ग के कार्यकर्ता को सौंपेगी। अब चुनावी अभियानों को गति दी जानी है इसलिए जल्द ही नए प्रदेश अध्यक्ष की घोषणा हो जाएगी।
BJP अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया है। सूत्रों के मुताबिक, स्वतंत्र देव सिंह का अध्यक्ष पद का कार्यकाल 16 जुलाई को खत्म हो चुका है। स्वतंत्र देव ने राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को इस्तीफा भेजा है। सूत्रों के अनुसार, यूपी बीजेपी को 29 जुलाई तक नया प्रदेश अध्यक्ष मिल सकता है। दरअसल, भाजपा ने वर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारी करना शुरू कर दिया है।
सूत्रों के अनुसार रफ्तार टुडे की खबर 15 अगस्त के बाद भाजपा यूपी में भारी फेरबदल
एक केंद्रीय मंत्री डिप्टी सीएम, एक डिप्टी सीएम प्रदेश अध्यक्ष भाजपा। एक दूसरे डिप्टी सीएम राज्यसभा सांसद।
पिछड़ा वर्ग से सबसे मजबूत दावेदार केंद्रीय राज्यमंत्री बीएल वर्मा बताए जा रहे हैं। ब्राह्मणों में कई नाम हैं, जैसे कि पूर्व उपमुख्यमंत्री डा. दिनेश शर्मा, पूर्व ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा, प्रदेश उपाध्यक्ष दिनेश कुमार, अलीगढ़ के सांसद सतीश गौतम, कन्नौज सांसद सुब्रत पाठक आदि।
वहीं, दलित वर्ग से विधान परिषद सदस्य लक्ष्मण आचार्य, सांसद विनोद सोनकर, एमएलसी विद्यासागर सोनकर और इटावा के सांसद डा. रामशंकर कठेरिया के नाम की चर्चा है।
अपनी पहचान बना चुकी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) इस बार उत्तर प्रदेश में पार्टी का अध्यक्ष तय करने के लिए लेकर काफी समय से उलझन में फंसी है। चूंकि, इस पद पर नियुक्ति से पार्टी को लोकसभा चुनाव के लिए जातीय-क्षेत्रीय समीकरण भी साधने हैं, इसलिए मंथन ज्यादा किया जा रहा है।
हालांकि, प्रदेश कार्यसमिति के बाद भाजपा की राष्ट्रीय कार्यसमिति की बैठक भी हो चुकी है। धरातल पर चुनावी अभियानों को गति दी जानी है, इसलिए उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही नए प्रदेश अध्यक्ष की घोषणा हो जाएगी।
सरकार गठन के बाद मार्च से ही दिमागी घोड़े इस दिशा में दौड़ रहे हैं कि पार्टी प्रदेश में संगठन के मुखिया का जिम्मा किस वर्ग के कार्यकर्ता को सौंपेगी। पार्टी के भीतर ही कई तर्क हैं, मसलन 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव की तरह 2024 को ध्यान में रखते हुए ब्राह्मण को प्रदेश अध्यक्ष बनाया जाएगा या विधानसभा चुनाव में बसपा से विमुख होकर भाजपा की ताकत बढ़ाने वाले दलित वर्ग को पार्टी आकर्षित करना चाहेगी।