दिल्ली, रफ्तार टुडे। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसदों ने आज लोकसभा परिसर के बाहर विरोध प्रदर्शन किया। यह प्रदर्शन कांग्रेस पार्टी द्वारा बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर के योगदान और सम्मान पर लगाए गए झूठे आरोपों के खिलाफ किया गया। भाजपा नेताओं ने कांग्रेस पर अंबेडकर के योगदान को नकारने और उनके साथ ऐतिहासिक अन्याय करने का आरोप लगाया।
भाजपा का कांग्रेस पर आरोप
भाजपा सांसदों ने प्रदर्शन के दौरान कहा कि कांग्रेस ने बाबा साहेब अंबेडकर को उचित मान्यता नहीं दी।
1955 में जवाहरलाल नेहरू ने खुद को भारत रत्न दिया, लेकिन अंबेडकर को यह सम्मान 1990 में मिला, वह भी तब जब कांग्रेस सत्ता में नहीं थी।
कांग्रेस ने हमेशा अंबेडकर की नीतियों और उनके योगदान को नजरअंदाज किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा ने बाबा साहेब के सम्मान में पंच तीर्थ स्थलों का सौंदर्यीकरण किया और उनके विचारों को जन-जन तक पहुंचाया।
अमित शाह का कांग्रेस पर तीखा हमला
लोकसभा में केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह ने अपने संबोधन में कांग्रेस के इतिहास पर गंभीर आरोप लगाए।
“कांग्रेस ने हमेशा बाबा साहेब का अपमान किया और उनके विचारों का विरोध किया। उनके हिंदू कोड बिल का समर्थन नहीं किया गया, जिससे उन्हें इस्तीफा देना पड़ा,” श्री शाह ने कहा।
उन्होंने कांग्रेस को दलित विरोधी करार देते हुए कहा कि पार्टी ने समाज के हाशिये पर खड़े वर्गों के विकास के लिए कभी गंभीर प्रयास नहीं किए।
सांसद डॉ. महेश शर्मा का बयान
गौतमबुद्ध नगर से भाजपा सांसद डॉ. महेश शर्मा ने कांग्रेस पर तीखा हमला बोलते हुए कहा:
“कांग्रेस ने बाबा साहेब को भारत रत्न देने से मना कर दिया था। उनके जन्म स्थलों और तीर्थ स्थलों के विकास के लिए भी कोई कदम नहीं उठाए। इसके विपरीत, मोदी सरकार ने बाबा साहेब के विचारों और कार्यों को सशक्त बनाने के लिए कई पहल की हैं।”
तेजस्वी सूर्या, दिनेश शर्मा और अन्य नेताओं की उपस्थिति
इस विरोध प्रदर्शन में भाजपा के युवा नेता तेजस्वी सूर्या, डॉ. दिनेश शर्मा, और अन्य सांसद भी शामिल हुए। उन्होंने कांग्रेस पर आरोप लगाया कि पार्टी ने अंबेडकर के विचारों को कमजोर करने के लिए सुनियोजित तरीके से काम किया।
मोदी सरकार की पहल
भाजपा ने अंबेडकर के सम्मान में कई योजनाओं और परियोजनाओं को लागू किया:
- पंच तीर्थ स्थलों का विकास: अंबेडकर से जुड़े स्थलों को राष्ट्रीय धरोहर के रूप में संरक्षित किया गया।
- दलित सशक्तिकरण: एससी/एसटी समुदायों के कल्याण के लिए कई योजनाएं चलाई गईं।
- शैक्षणिक और सामाजिक सुधार: अंबेडकर के विचारों को शिक्षा और सामाजिक नीति में प्राथमिकता दी गई।
कांग्रेस का इतिहास और विरोधाभास
भाजपा नेताओं ने यह भी कहा कि कांग्रेस ने अंबेडकर के हिंदू कोड बिल का विरोध किया, जो समाज में लैंगिक समानता और प्रगतिशीलता लाने के लिए एक ऐतिहासिक पहल थी।
श्री अमित शाह ने कहा,
“कांग्रेस का रवैया हमेशा से दलित-विरोधी रहा है। उन्होंने केवल अपने राजनीतिक लाभ के लिए समाज को बांटने का काम किया।”
भाजपा का संदेश
भाजपा नेताओं ने जोर देकर कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में पार्टी बाबा साहेब अंबेडकर के विचारों को आगे बढ़ाने और दलित समुदाय को सशक्त बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।
“हम अंबेडकर जी के योगदान को कभी नहीं भूल सकते। भाजपा उनकी विरासत को सहेजने और समाज में समानता लाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है,” डॉ. महेश शर्मा ने कहा।
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