
दादरी, रफ़्तार टुडे।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का 8 मार्च को दादरी आगमन प्रस्तावित है, लेकिन दादरी-रूपवास बाईपास की बदहाल स्थिति को देखकर लोगों में भारी रोष है। इस मार्ग पर बड़े-बड़े गड्ढे बन चुके हैं, जिससे आमजन को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
पूर्व अध्यक्ष दादरी बार एसोसिएशन एवं वरिष्ठ भाजपा कार्यकर्ता अधिवक्ता राकेश नागर ने इस समस्या को संज्ञान में लेते हुए ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (CEO) को पत्र भेजा है। इस पत्र में उन्होंने मुख्यमंत्री के दौरे से पहले बाईपास को गड्ढा मुक्त करने की मांग की है।
गड्ढों के कारण यातायात व्यवस्था चरमराई, दुर्घटनाओं का बढ़ा खतरा
दादरी-रूपवास बाईपास एक महत्वपूर्ण मार्ग है, जो कई इलाकों को जोड़ता है, लेकिन इसकी दुर्दशा दिन-ब-दिन बिगड़ती जा रही है। इस सड़क पर बने बड़े-बड़े गड्ढे वाहन चालकों के लिए परेशानी का सबब बन गए हैं।
स्थानीय निवासियों और यात्रियों का कहना है कि गड्ढों की वजह से भारी ट्रैफिक जाम की स्थिति बनी रहती है। बारिश के मौसम में यह समस्या और विकराल हो जाती है, जब पानी गड्ढों में भरकर उन्हें और खतरनाक बना देता है।

दादरी निवासी रवि शर्मा का कहना है:
“हर रोज इस सड़क से गुजरना किसी चुनौती से कम नहीं। गड्ढों की वजह से बाइक सवार आए दिन गिरकर चोटिल हो जाते हैं। बड़े वाहनों को चलाने में भी मुश्किलें होती हैं। प्रशासन को जल्द से जल्द इस पर ध्यान देना चाहिए।”
योगी सरकार के विकास मॉडल पर उठ रहे सवाल, लोग बोले- कब मिलेगी राहत?
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दौरे से पहले ही दादरी बाईपास की जर्जर हालत को लेकर स्थानीय लोग नाराजगी जाहिर कर रहे हैं। लोगों का कहना है कि सरकार ने उत्तर प्रदेश को गड्ढा मुक्त करने का वादा किया था, लेकिन इस सड़क की हालत देखकर विकास के दावों पर सवाल उठ रहे हैं।
दादरी के सामाजिक कार्यकर्ता और व्यापारी अमित गुप्ता का कहना है कि –
“सरकार और प्रशासन को चाहिए कि वह मुख्यमंत्री के दौरे से पहले इस सड़क की मरम्मत कराए। दादरी क्षेत्र औद्योगिक और व्यावसायिक गतिविधियों का केंद्र है, लेकिन खराब सड़कें इसकी विकास यात्रा में बाधा बन रही हैं।”
अधिवक्ता राकेश नागर की पहल, CEO को लिखा पत्र
दादरी बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष और वरिष्ठ भाजपा कार्यकर्ता राकेश नागर ने इस मुद्दे को गंभीरता से उठाया है। उन्होंने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के CEO को पत्र भेजकर तत्काल कार्रवाई की मांग की है।
पत्र में मुख्य बिंदु:
✔️ बाईपास पर गड्ढों की अधिकता से जनता को हो रही परेशानी।
✔️ यातायात में भारी बाधा और दुर्घटनाओं का खतरा।
✔️ CM योगी के आगमन से पहले सड़क सुधार की आवश्यकता।
✔️ प्राधिकरण को तत्काल कार्रवाई के लिए निर्देश देने की मांग।
प्रशासन से तत्काल एक्शन लेने की मांग, क्या होगी सुनवाई?
अब सवाल यह उठता है कि क्या प्रशासन इस पत्र को गंभीरता से लेकर दादरी-रूपवास बाईपास की मरम्मत करेगा? या फिर जनता को इसी तरह गड्ढों से जूझना पड़ेगा?
स्थानीय निवासियों की मांग:
- मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आगमन से पहले सड़क की तत्काल मरम्मत हो।
- गड्ढों को पूरी तरह भरकर सड़क को सुचारू बनाया जाए।
- यातायात व्यवस्था को सुधारने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं।
- सड़क की नियमित मरम्मत और रखरखाव सुनिश्चित किया जाए।

यातायात पुलिस और नगर प्रशासन की भूमिका
स्थानीय लोगों का यह भी कहना है कि यदि प्रशासन और यातायात विभाग पहले ही इस समस्या को गंभीरता से लेता, तो आज यह स्थिति नहीं आती। पुलिस को भी चाहिए कि वह इस मार्ग पर यातायात सुचारू रखने के लिए विशेष निगरानी रखे।
क्या योगी सरकार के संज्ञान में आएगी यह समस्या?
योगी आदित्यनाथ की सरकार उत्तर प्रदेश को विकास के पथ पर आगे ले जाने के लिए प्रतिबद्ध है। राज्य की सड़कों को गड्ढा मुक्त बनाने का लक्ष्य भी सरकार के प्रमुख एजेंडे में शामिल है।
ऐसे में क्या मुख्यमंत्री के दौरे से पहले इस सड़क को सुधारने का काम शुरू होगा? या फिर यह मुद्दा सिर्फ पत्राचार और प्रशासनिक औपचारिकताओं तक ही सीमित रह जाएगा? यह देखना दिलचस्प होगा।
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