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Haryana’s Panipat Industry Closed Vs Air Pollution; Entrepreneurs and Workers March Against CPCB | प्रदूषण के कारण इंडस्टी बंद के विरोध में, पानीपत को एनसीआर से बाहर करवाने की मांग को लेकर किया प्रदर्शन

रोहतकएक घंटा पहले

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सीपीसीबी के विरोध में शांति मार्च निकालते उद्यमी। - Dainik Bhaskar

सीपीसीबी के विरोध में शांति मार्च निकालते उद्यमी।

हरियाणा के पानीपत जिले के हजारों उद्यमियों, श्रमिकों ने मिलकर आज सीपीसीबी के खिलाफ शांति मार्च निकाला। पानीपत के जिमखाना क्लब पर शहरभर के उद्यमी पहुंचना शुरू हुए। यहीं पर फैक्ट्रियों के श्रमिक भी पहुंचे। पानीपत डायर्स एसोसिएशन, एक्सपोर्टर्स एसोसिएशन, यंग एन्टरप्रन्योर सोसाइटी, सेक्टर 29 इंडस्ट्रियल एसोसिएशन, पानीपत इंडस्ट्री एसोसिएशन के अलावा एनसीआर के जिलों की इंडस्ट्री एसोसिएशन के प्रतिनिधि भी इस जुलूस में शामिल होने के लिए पहुंचे।

सभी जिम खाना क्लब में इक्ट्‌ठा हुए और यहां से पैदल पैदल शांति मार्च निकालते हुए जीटी रोड से लघु सचिवालय तक नारेबाजी और प्रदर्शन किया। उद्यमियों ने दिल्ली के प्रदूषण के नाम पर पानीपत और एनसीआर की इंडस्ट्री को बंद कराने के फैसले के विरोध में हुंकार भरी। साफ कर दिया कि अगर सरकार ने उनकी इंडस्ट्री पर ताला लगाया तो वे चुप नहीं बैठेंगे।

सीपीसीबी के विरोध में शांति मार्च निकालते उद्यमी।

सीपीसीबी के विरोध में शांति मार्च निकालते उद्यमी।

जीटी रोड पर बनी जाम की स्थिति
उद्यमी जिमखाना क्लब से मित्तल मेगा मॉल के सामने सेक्टर 12 में प्रवेश किया। शिव मंदिर सेक्टर 12 से एसडीवीएम होते हुए एंजल मॉल, यहां से सेक्टर 11 होते हुए जीटी रोड पहुंचे। यहां से जोध सचियार गुरुद्वारा के सामने जीटी रोड पर यूटर्न लेने के बाद रिजेंसी से होते हुए गोहाना रोड, संजय चौक, लालबत्ती होते हुए लघु सचिवालय पहुंचे। इस दौरान दिल्ली बॉर्डरों से किसान भी अपने घरों की ओर लौट रहे थे। दोनों की संख्या अचानक से जीटी रोड पर बढ़ने से यातायात व्यवस्था बिगड़ गई। ट्रैफिक पुलिस के अतिरिक्त जवानों ने यातायात को सुचारू करने के हर संभव प्रयास किए।

12 दिसंबर तक बंद है इंडस्टी
दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के चलते केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ( सीपीसीबी ) ने दिल्ली-एनसीआर में सभी इंडस्टी को 12 दिसंबर तक बंद करने का फैसला लिया है। इस फैसले के विरोध में CPCB के खिलाफ पानीपत के हजारों उघमी शनिवार को सड़कों पर उतरे। उद्यमियों का कहना है कि पानीपत में प्रदूषण का स्तर कम होने के बावजूद यहां की इंडस्ट्री को बंद करा दिया गया है। कोयला आधारित इंडस्ट्री तो 12 दिसंबर तक बंद ही है। केवल गैस आधारित इंडस्ट्री ही चल सकती है। गैस के कनेक्शन ही उद्यमियों के पास नहीं है। कारोबार ठप होने लगा है।

सीपीसीबी के विरोध में शांति मार्च निकालते उद्यमी।

सीपीसीबी के विरोध में शांति मार्च निकालते उद्यमी।

पानीपत को एनसीआर से निकलवाने को अलग एसोसिएशन का करेंगे निर्माण
उद्यमियों ने कहा कि पानीपत को एनसीआर से निकालने के लिए एक अलग से एसोसिएशन बनाएंगे और यह एसोसिएशन प्रदेश व केंद्र स्तर पर उद्यमियों के हितों की रक्षा के लिए संघर्ष करेगी। वहीं टेक्सटाइल उद्योग से जुड़ी 36 एसोसिएशन एक मंच पर आ गई है। सभी उद्यमियों ने सीपीसीबी के निर्देशों को हास्यप्रद बताया। मीटिंग में फैसला किया गया कि शनिवार को 60 हजार टेक्सटाइल उद्योगपति व श्रमिक सड़कों पर उतरेंगे। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ( सीपीसीबी ) व सरकार के खिलाफ रोष प्रदर्शन करेंगे। रोष प्रदर्शन जिम खाना क्लब से लघु सचिवालय तक निकाला जाएगा। अगर सीपीसीबी व सरकार ने उनकी मांगें नहीं मानी तो वो प्रदेश स्तर पर आंदोलन किया जाएगा। उद्यमियों के एक दल ने डीसी से मुलाकात कर उन्हें प्रदर्शन के बारे में ज्ञापन भी सौंपा। शहर के दो हजार उद्योग लगातार तीसरे दिन भी पूर्ण रूप से बंद रहे। उद्यमियों को इन तीन दिनों में लगभग 950 करोड़ रुपये का नुकसान हो गया है। लगभग दो लाख श्रमिक घर बैठ गए हैं।

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