अमर उजाला ब्यूरो, नई दिल्ली
Published by: सुशील कुमार
Updated Tue, 28 Dec 2021 10:00 PM IST
सार
मेट्रो और बसों में 50 फीसदी सीटों पर ही सफर की इजाजत से मेट्रो स्टेशन और बस स्टॉप पर इंतजार करना पड़ेगा। नियमों की अनदेखी करने पर दिल्ली मेट्रो रेल कारॅरपोरेशन (डीएमआरसी) की तरफ से जुर्माना भी किया जाएगा।
डीटीसी बस और मेट्रो
– फोटो : अमर उजाला
कोरोना और ओमिक्रॉन के बढ़ते संक्रमण से यात्रियों के लिए एक बार फिर बंदिशें लागू कर दी गई हैं। 204 दिन बाद यात्रियों को मेट्रो में सफर में एक बार फिर वैकल्पिक सीटों पर छोड़कर बैठना होगा। संक्रमण का प्रसार रोकने और सामाजिक दूरी के मद्देनजर एहतियातों का सख्ती से पालन करना होगा। मेट्रो में खड़े होने की अब इजाजत नहीं है, जबकि जरूरत के मुताबिक मेट्रो स्टेशनों के प्रवेश और निकास गेट खोले जाएंगे।
मेट्रो और बसों में 50 फीसदी सीटों पर ही सफर की इजाजत से मेट्रो स्टेशन और बस स्टॉप पर इंतजार करना पड़ेगा। नियमों की अनदेखी करने पर दिल्ली मेट्रो रेल कारॅरपोरेशन (डीएमआरसी) की तरफ से जुर्माना भी किया जाएगा। महामारी काल में बंदिशें लागू होने पर भीड़ में कमी आएगी। साथ ही यात्रियों को चिंता सताने लगी है कि सर्दियों के दौरान उन्हें मेट्रो स्टेशन या बस स्टॉप पर लंबा इंतजार न करना पड़े।
दिल्ली में ग्रैप लागू होने के बाद मेट्रो की क्षमता पहले की तुलना में घटकर फिर 25 फीसदी तक सिमटने का अनुमान लगाया जा रहा है। कोविड काल में लंबे समय तक सेवाएं बंद रहने के कारण वित्तीय नुकसान से जूझना पड़ा, मगर हालत में सुधार से पहले बंदिशें दोबारा लागू हो गई हैं।
डीएमआरसी के कार्यकारी निदेशक (कॉरपोरेट कम्युनिकेशन) अनुज दयाल के मुताबिक मेट्रो में सफर के दौरान यात्रियों को सभी एहतियातों का पालन करना होगा। 50 फीसदी क्षमता के साथ मेट्रो का परिचालन होगा और जरूरत के मुताबिक एंट्री एग्जिट गेट खोले जाएंगे। सफर में नियमों की अनेदखी करने पर जुर्माना होगा। इसके लिए नौ टीमें तैनात की गई हैं। जरूरत हुई तो संख्या बढ़ाई जा सकती है।
जरूरत के मुताबिक स्टेशनों पर खुलेंगे गेट
. मेट्रो में केवल 50 फीसदी होगी क्षमता
. यात्रा के दौरान यात्रियों को खड़े रहने की नहीं है इजाजत
. सरकार के दिशा निर्देशों के तहत स्टेशनों में प्रवेश के लिए खुलने वाले गेटों की संख्या को सीमित किया जाएगा ताकि प्रवेश के दौरान भीड़भाड़ न हो।
बसों में 17-18 यात्री ही कर सकेंगे सफर
50 फीसदी क्षमता के साथ बसों का परिचालन होने से यात्रियों को बस स्टॉप पर अधिक इंतजार करना पड़ सकता है। एक एक सीट छोड़कर सफर की इजाजत से एक बस में 17-18 यात्री ही सफर कर सकेंगे। सीटें फुल होते ही बसों में तैनात मार्शल, यात्रियों को सवार होने नहीं देते हैं। इस वजह से बस स्टॉप पर इंतजार अधिक करना पड़ेगा। बसों की संख्या कम होने की वजह से यात्रियों को अधिक इंतजार करना पड़ेगा। बसों में सफर करने की केवल आवश्यक सेवाओं से जुड़े यात्रियों को ही सफर की इजाजत दी गई है। ऐसे में पूछने पर यात्रियों को आई कार्ड दिखाना पड़ सकता है।
विस्तार
कोरोना और ओमिक्रॉन के बढ़ते संक्रमण से यात्रियों के लिए एक बार फिर बंदिशें लागू कर दी गई हैं। 204 दिन बाद यात्रियों को मेट्रो में सफर में एक बार फिर वैकल्पिक सीटों पर छोड़कर बैठना होगा। संक्रमण का प्रसार रोकने और सामाजिक दूरी के मद्देनजर एहतियातों का सख्ती से पालन करना होगा। मेट्रो में खड़े होने की अब इजाजत नहीं है, जबकि जरूरत के मुताबिक मेट्रो स्टेशनों के प्रवेश और निकास गेट खोले जाएंगे।
मेट्रो और बसों में 50 फीसदी सीटों पर ही सफर की इजाजत से मेट्रो स्टेशन और बस स्टॉप पर इंतजार करना पड़ेगा। नियमों की अनदेखी करने पर दिल्ली मेट्रो रेल कारॅरपोरेशन (डीएमआरसी) की तरफ से जुर्माना भी किया जाएगा। महामारी काल में बंदिशें लागू होने पर भीड़ में कमी आएगी। साथ ही यात्रियों को चिंता सताने लगी है कि सर्दियों के दौरान उन्हें मेट्रो स्टेशन या बस स्टॉप पर लंबा इंतजार न करना पड़े।
दिल्ली में ग्रैप लागू होने के बाद मेट्रो की क्षमता पहले की तुलना में घटकर फिर 25 फीसदी तक सिमटने का अनुमान लगाया जा रहा है। कोविड काल में लंबे समय तक सेवाएं बंद रहने के कारण वित्तीय नुकसान से जूझना पड़ा, मगर हालत में सुधार से पहले बंदिशें दोबारा लागू हो गई हैं।
डीएमआरसी के कार्यकारी निदेशक (कॉरपोरेट कम्युनिकेशन) अनुज दयाल के मुताबिक मेट्रो में सफर के दौरान यात्रियों को सभी एहतियातों का पालन करना होगा। 50 फीसदी क्षमता के साथ मेट्रो का परिचालन होगा और जरूरत के मुताबिक एंट्री एग्जिट गेट खोले जाएंगे। सफर में नियमों की अनेदखी करने पर जुर्माना होगा। इसके लिए नौ टीमें तैनात की गई हैं। जरूरत हुई तो संख्या बढ़ाई जा सकती है।
जरूरत के मुताबिक स्टेशनों पर खुलेंगे गेट
. मेट्रो में केवल 50 फीसदी होगी क्षमता
. यात्रा के दौरान यात्रियों को खड़े रहने की नहीं है इजाजत
. सरकार के दिशा निर्देशों के तहत स्टेशनों में प्रवेश के लिए खुलने वाले गेटों की संख्या को सीमित किया जाएगा ताकि प्रवेश के दौरान भीड़भाड़ न हो।
बसों में 17-18 यात्री ही कर सकेंगे सफर
50 फीसदी क्षमता के साथ बसों का परिचालन होने से यात्रियों को बस स्टॉप पर अधिक इंतजार करना पड़ सकता है। एक एक सीट छोड़कर सफर की इजाजत से एक बस में 17-18 यात्री ही सफर कर सकेंगे। सीटें फुल होते ही बसों में तैनात मार्शल, यात्रियों को सवार होने नहीं देते हैं। इस वजह से बस स्टॉप पर इंतजार अधिक करना पड़ेगा। बसों की संख्या कम होने की वजह से यात्रियों को अधिक इंतजार करना पड़ेगा। बसों में सफर करने की केवल आवश्यक सेवाओं से जुड़े यात्रियों को ही सफर की इजाजत दी गई है। ऐसे में पूछने पर यात्रियों को आई कार्ड दिखाना पड़ सकता है।
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