ताजातरीनप्रदेश

Scientist Claimed: Pollutants Cannot Move From One Area To Another, The State Itself Is Responsible For The Pollution Spread Here – वैज्ञानिक ने किया दावा: एक क्षेत्र से दूसरी जगह में नहीं जा सकते प्रदूषक, अपने यहां फैले प्रदूषण के लिए राज्य खुद जिम्मेदार

एएनआई, नई दिल्ली
Published by: अनुराग सक्सेना
Updated Sun, 21 Nov 2021 10:53 AM IST

सार

पंजाब एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी की मुख्य वैज्ञानिक डॉ. प्रभज्योत कौर सिद्धू ने कहा कि हमने पिछले चार साल के आंकड़ों के विश्लेषण में पाया कि जब मानसून अपने ढलान पर होता है, तापमान कम हो, हवा की रफ्तार कम हो और स्थिर वातावरण है तो एक क्षेत्र का वातावरण दूसरे क्षेत्र में नहीं जा सकता है।

ख़बर सुनें

लंबे समय से चले आ रहे एक राज्य से दूसरे राज्य में प्रदूषण फैलाने के आरोपों संबंधी विवाद पर अब शायद विराम लगने वाला है। एक नए अध्ययन में खुलासा हुआ है कि अगर तेज हवा ना चलती हो तो एक क्षेत्र का प्रदूषण दूसरे क्षेत्र में नहीं जा सकता है। यह अध्ययन पंजाब एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी की मुख्य वैज्ञानिक डॉ. प्रभज्योत कौर सिद्धू ने किया है।

उन्होंने कहा कि हमने पिछले चार साल के आंकड़ों का विश्लेषण किया है। हमने इसमें पाया कि जब मानसून अपने ढलान पर होता है, तापमान कम हो, हवा की रफ्तार कम हो और स्थिर वातावरण है तो एक क्षेत्र का वातावरण दूसरे क्षेत्र में नहीं जा सकता है।

उन्होंने आगे कहा कि प्रदूषकों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाने के लिए तेज हवा की जरूरत होती है। इसलिए प्रत्येक राज्य वहां फैले प्रदूषण के लिए खुद जिम्मेदार है। दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक पंजाब की तुलना में वैसे भी अधिक है।

गौरतलब है कि दिल्ली में जानलेवा प्रदूषण के लिए विभिन्न संस्थाएं और सरकारें पंजाब और हरियाणा में किसानों द्वारा जलाई जा रही पराली को जिम्मेदार ठहराती रही हैं।

विस्तार

लंबे समय से चले आ रहे एक राज्य से दूसरे राज्य में प्रदूषण फैलाने के आरोपों संबंधी विवाद पर अब शायद विराम लगने वाला है। एक नए अध्ययन में खुलासा हुआ है कि अगर तेज हवा ना चलती हो तो एक क्षेत्र का प्रदूषण दूसरे क्षेत्र में नहीं जा सकता है। यह अध्ययन पंजाब एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी की मुख्य वैज्ञानिक डॉ. प्रभज्योत कौर सिद्धू ने किया है।

उन्होंने कहा कि हमने पिछले चार साल के आंकड़ों का विश्लेषण किया है। हमने इसमें पाया कि जब मानसून अपने ढलान पर होता है, तापमान कम हो, हवा की रफ्तार कम हो और स्थिर वातावरण है तो एक क्षेत्र का वातावरण दूसरे क्षेत्र में नहीं जा सकता है।

उन्होंने आगे कहा कि प्रदूषकों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाने के लिए तेज हवा की जरूरत होती है। इसलिए प्रत्येक राज्य वहां फैले प्रदूषण के लिए खुद जिम्मेदार है। दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक पंजाब की तुलना में वैसे भी अधिक है।

गौरतलब है कि दिल्ली में जानलेवा प्रदूषण के लिए विभिन्न संस्थाएं और सरकारें पंजाब और हरियाणा में किसानों द्वारा जलाई जा रही पराली को जिम्मेदार ठहराती रही हैं।

Source link

Related Articles

Back to top button