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एक अदने से कर्मचारी नायब तहसीलदार ने कर डाली बदसलूकी, भाजपा युवा मोर्चा का जिलाध्यक्ष का मामला

दादरी/नोएडा, रफ्तार टुडे। सत्तारूढ़ भाजपा (भारतीय जनता युवा मोर्चा) के अध्यक्ष के साथ एक नायब तहसीलदार की बदतमीजी इन दिनों चर्चा का विषय बनी हुई है। सवाल उठ रहा है कि क्या एक अदना सा सरकारी कर्मचारी इतना पावरफुल हो सकता है कि वह सत्तारूढ़ पार्टी के अध्यक्ष को खुलेआम गालियां दे दे और उसका बाल भी बांका न हो?

सवाल यह भी उठ रहा है कि जब अपनी ही सरकार में अपना ही काम भाजपा अध्यक्ष नहीं करा पा रहे हैं तो फिर भला वह समर्थकों व आम जनता का क्या भला करा पाएंगे।

सोशल मीडिया पर एक वीडियो एवं ऑडियो क्लिप वायरल हो रही है। इस वीडियो में नोएडा के भाजयुमो के जिलाध्यक्ष रामनिवास यादव को एक नायब तहसीलदार न केवल धमका रहा है। बल्कि खुल्लम-खुल्ला बदतमीजी भी कर रहा है।

पूरे प्रकरण की तह में जाने के लिए चेतना मंच ने मामले की व्यापक छानबीन की है।
भाजपा युवा मोर्चा के अध्यक्ष रामनिवास ने रफ्तार टुडे को बताया कि दरअसल दादरी तहसील क्षेत्र के हैबतपुर में उनके परिवार की दादालाई जमीन है।

उन्होंने एसडीएम से कई बार आवेदन करके मांग की है कि खसरे में दर्ज उनकी जमीन की पैमाइश करके उन्हें दे दी जाए। मौके पर उनकी जमीन काफी कम मौजूद है।

यदि उनके पास खसरे में दर्ज जमीन से अधिक हो तो प्रशासन उसे ले ले। इसी जमीन की पैमाइश को लेकर नायब तहसीलदार सुनील पंवार ने उनके पिताजी से 1 लाख रूपये की रिश्वत की मांग की।
रिश्वत देने से मना करने पर नायब तहसीलदार बिफर पड़ा तथा उनके पिता जी तथा उनके साथ अभद्र व्यवहार किया।

गढ़ी चौखंडी गांव निवासी रामनिवास यादव ने बताया कि जमीन की पैमाइश करवाने के लिए मेरे पिताजी ने कई बार दादरी तहसील में आवेदन दिया। 22 जून की दोपहर लेखपाल सरजीत सिंह का फोन आया। उन्होंने बताया कि आपकी जमीन की पैमाइश करने नायब तहसीलदार सचिन पवार आए हैं। आप खेतों पर आ जाइए। मेरे पिताजी और बड़े भाई खेतों पर पहुंचे।

वहां कोई नहीं था। पिताजी ने कॉलबैक करके लेखपाल से पूछा तो उसने बताया कि गौर सिटी चौराहे पर पुलिस चौकी में आ जाइए। हम लोग यहीं पर बैठे हुए हैं।
रामनिवास यादव का कहना है कि मेरे पिताजी और बड़े भाई गौर सिटी चौराहे पर पुलिस चौकी में पहुंचे।

वहां नायब तहसीलदार सचिन पवार, लेखपाल सरजीत सिंह और चौकी इंचार्ज सब इंस्पेक्टर सुमित बालियान बैठे हुए थे। सचिन पवार ने मेरे पिताजी से पैमाइश करने की एवज में एक लाख रुपये रिश्वत की मांग की। मेरे पिताजी ने रिश्वत देने से इंकार कर दिया। इस पर सचिन पवार बुरी तरह बिफर गया। उसने पिताजी के साथ अभद्रता की और मारपीट करने पर उतारू हो गया। माहौल बिगड़ता देखकर मेरे पिताजी ने मुझे फोन किया और चौकी पर बुला लिया।

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